पहलगाम धार्मिक तनाव फैलाने की साजिश थी, जयशंकर बोले- आतंकियों को छोड़ेंगे नहीं
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S Jaishankar Latest News: विदेश मंत्री एस जयशंकर ने पहलगाम हमले पर पाकिस्तान को लताड़ते हुए कहा कि यह धार्मिक तनाव बढ़ाने के लिए था. भारत ने ऑपरेशन सिंदूर के तहत आतंकी ठिकानों को ध्वस्त किया. चुन-चुनकर आतंकी ठ…और पढ़ें

जयशंकर ने खुलकर भारत की बात कही. (File Photo)
हाइलाइट्स
- जयशंकर ने पाक को पहलगाम हमले पर लताड़ा.
- भारत ने ऑपरेशन सिंदूर के तहत आतंकी ठिकानों को ध्वस्त किया.
- भारत की आतंकवाद पर जीरो टॉलरेंस नीति ठोस और प्रभावशाली है.
S Jaishankar Latest News: विदेश मंत्री एस जयशंकर ने पहलगाम आतंकी हमले पर पाकिस्तान को लताड़ते हुए साफ-साफ शब्दों में कहा कि धार्मिक तनाव बढ़ाने के मकसद से यह हमला किया गया था. एक यूनिवर्सिटी के दीक्षांत समारोह में विदेश मंत्री एस जयशंकर ने कहा कि यह हमला जम्मू-कश्मीर की पर्यटन अर्थव्यवस्था को निशाना बनाने के साथ-साथ धार्मिक तनाव फैलाने की एक घिनौनी साजिश था. जयशंकर ने इसे आतंकवाद का सबसे क्रूर चेहरा बताते हुए कहा कि भारत ने इसका जवाब ऑपरेशन सिंदूर के तहत बहावलपुर और मुरीदके में आतंकी ठिकानों को ध्वस्त कर के दिया है. उन्होंने जोर देकर कहा कि भारत की “जीरो टॉलरेंस फॉर टेररिज्म” नीति अब केवल शब्दों तक सीमित नहीं रही, बल्कि ठोस और प्रभावशाली कार्रवाइयों के रूप में दिख रही है.
विदेश मंत्री ने चेतावनी दी, “आतंकी नेटवर्क्स अब अछूते नहीं रहेंगे. हम आतंकियों को चाहे कहीं भी हों, छोड़ेंगे नहीं.” उन्होंने कहा कि 26/11 मुंबई हमलों के बाद जैसी सख्त प्रतिक्रिया की जरूरत थी, आज के भारत ने उसे कई गुना मजबूत इरादों से पूरा किया है. जयशंकर ने कहा कि आतंकवाद के खिलाफ भारत का रुख स्पष्ट और कड़ा है और भारत किसी भी काले दबाव या परमाणु ब्लैकमेल को बर्दाश्त नहीं करेगा. राष्ट्रीय हित में जो भी निर्णय लेने होंगे, लिए जाएंगे और भारत अपनी सुरक्षा के लिए हर संभव कदम उठाएगा. विदेश मंत्री ने यह भी कहा कि पहलगाम हमले के बाद भारत को अन्य देशों से भी अपना बचाव करने के अधिकार को समझने और समर्थन मिलने का हर्ष हुआ.
ट्रंप पर भी बरसे जयशंकर
विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने कहा कि कुछ देशों के लिए अब ये एक फैशन बन गया है कि वे पब्लिकली खुद को डील मेकर घोषित करें और देशों के बीच डील कराने वाले की तरह व्यवहार करें. इस बयान के माध्यम से जयशंकर का इशारा सीधे तौर पर अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की ओर था, जो भारत-पाकिस्तान सीजफायर का क्रेडिट लेने के चक्कर में थे. ट्रंप ने यहां तक कहा कि भारत को उन्होंने ट्रेड के दबाव में लाकर यह फैसला कराया.
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पत्रकारिता में 14 साल से भी लंबे वक्त से सक्रिय हूं. साल 2010 में दैनिक भास्कर अखबार से करियर की शुरुआत करने के बाद नई दुनिया, दैनिक जागरण और पंजाब केसरी में एक रिपोर्टर के तौर पर काम किया. इस दौरान क्राइम और…और पढ़ें
पत्रकारिता में 14 साल से भी लंबे वक्त से सक्रिय हूं. साल 2010 में दैनिक भास्कर अखबार से करियर की शुरुआत करने के बाद नई दुनिया, दैनिक जागरण और पंजाब केसरी में एक रिपोर्टर के तौर पर काम किया. इस दौरान क्राइम और… और पढ़ें
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